सबरीना की बस की मस्ती

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Anjaan
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जैसे ही विक्की का हाथ अपने लंड पे गया, सबरीना अपने हाथों से खुद अपनी चूचियाँ मसलती हुई बोली, “उउम्म्म थोड़ा और जोर से मार ना... पूरा लेना है लौड़ा चूत में हरामी। तू दर्द की चिंता मत कर, जितनी बेरहमी से हो सके डाल अपना लौड़ा मेरी चूत में और चोद मुझे।” सबरीना की इस बात पे विक्की ने भी जोश में आकर उसकी कमर में हाथ डाल कर एक ज़ोर दार धक्का दिया जिससे उसका मोटा लंड सबरीना की चूत फैलाते हुए करीब-करीब आधा घुस गया। इतना मोटा लौड़ा घुसने से सबरीना का सीना और माथा पसीने से लथपथ हो गया। दर्द से उसने आँखें बंद करके होंठ दाँतों में दबाये। सबरीना के सीने का पसीना चाट कर विक्की बोला, “तेरी माँ की चूत चोदूँ, साली रंडी, क्या टाइट चूत है तेरी। लगता है तेरे शौहर का लंड ज्यादा बड़ा नहीं है जो मेरा लंड इतना टाइट जा रहा है।”

अपनी कमर हिला कर, पैर फ़ैलाते हुए सबरीना विक्की के लंड का रास्ता और आसान करती हुई, विक्की के चौड़े सीने पे हाथ फेरती हुई बोली, “अरे मेरे शौहर की बात छोड़, तुझे मज़ा आ रहा है ना एक ४२-४३ साल की औरत की इतनी टाइट चूत में लंड डालने में? यार तू अपनी सोच, मेरे बारे में बोल, शौहर का क्या काम है? उसका काम खतम हुआ जब उसने दो बेटियाँ दे दीं, मुझे अब उसका कोई काम नहीं है, साला पाँच मिनट में झड़ जाता है। तेरी कसम विक्की मुझे ये इतना पसीना इक्कीस साल की शादी में कभी नहीं आता था।”

दो-तीन बार लंड आगे पीछे करके विक्की ने फिर ज़ोर से धक्का देके लंड सबरीना की चूत में घुसाया। इस बार पूरा लौड़ा अंदर घुसा तो सबरीना चिल्लाने और तड़पने लगी। अपने मम्मे खुद मसलती हुई वो ज़ोर से आंहें भरने लगी। विक्की बिना रुके लंड चूत में ठेलते और मम्मे मसलते हुए बोला, “मादरचोद उसकी बात तो आती रहेगी ही रंडी, तू मेरा लौड़ा और चूदाई की उससे तुलना करेगी ही ना? अब कैसे बोली कि इक्कीस साल में पहली बार ऐसा पसीना आया... वो भी आधा लंड घुसने से? तेरी माँ को चोदूँ राँड... ये सोच कि पूरा लंड घुसा कर जब जानवर जैसे तुझे चोदुँगा तब तेरा क्या हाल होगा?”

विक्की का पूरा लौड़ा अंदर घुसने पर सबरीना जोर से ’ओहहह आहहह ऊफ़्फ़्फ़’ चिल्लाने लगी। वो खुद कमर ऊपर करके विक्की के लंड से भिड़ा रही थी। विक्की ने चूत आहिस्ता चोदते हुए सबरीना के होंठों पे अपने होंठ दबा कर मस्ती से मम्मे मसलना शुरू किया। मम्मों से इतना खेलने से वो एकदम लाल हो गये थे। सबरीना विक्की को बाहों में ले कर उसको किस करके बोली, “अरे मैं तुलना करके उससे कहूँगी कि तेरे जैसे असली मर्द कैसे चोदते हैं। तू क्यों बीच में उसे लाता है, तू मेरी और अपनी बात कर ना। आज तुझे मौका मिला है तो कर ले इस जिस्म से अपने दिल की भड़ास पूरी। ऐसा मौका बार-बार नहीं आता कि मेरी जैसे गरम चुदास औरत तेरे जैसे तगड़े चोदू मर्द के नीचे हो। हाँ ये बात और है कि तेरे जैसे मर्दों के गरम करने पर मेरे जैसी औरतें टाँगें फ़ैला देती हैं... लेकिन गरम होने में बहुत वक्त लेती हैं मेरे जैसी औरतें। आहहहहह आँआँ फाड़ दिया मेरी चूत को... गधी की औलाद... भोंसड़ी वाले... चोद.... और डाआआआल अपना लौड़ाआआआ अंदर आआआआ ओओओओआँआँआआआहहहहह।”

“ठीक है राँड अब तेरे हिजड़े शौहर की बात नहीं करूँगा। चोदने तक तेरी बात और उसके बाद तेरी सहेलियों और तेरी कमसिन बेटियों की बात करूँगा। आज रात भर तुझे ऐसे ही खुली हवा में चोदुँगा रंडी की तरह... और कोई भी आये तो मेरे बाद उससे भी तुझे चुदवाऊँगा समझी? तेरी जैसी रंडी औरत को जब-जब मैं चाहता हूँ... अपने नीचे लेता हूँ, तेरी जैसी मुसलमान औरतें नखरे करके और शरमाके चुदवाती हैं इससे हम मर्द बड़े गरम होते हैं। तुम मुसल्लियाँ आराम से गरम होती हो और बेरहमी चुदा के ठंडी होती हो। मादरचोद लगता है ज़िंदगी में पहली बार लंड गया तेरी चूत में जो तू इतना चिल्ला रही है... हरामी ये तो शुरूआत है... अभी तेरी गाँड बाकी है छिनाल।”

जीभ सबरीना के मुँह में घुसा कर उसके मम्मे मसलते हुए विक्की ने अब उसकी चूदाई ज़ोर से शुरू की। सबरीना ने थोड़ा अपने होंठ विक्की के होंठों से अलग किये उसे जवाब देने के लिये और इसलिये उसने अपनी चूंची उसके मुँह में दे दी। विक्की का लंड ज्यादा से ज्यादा चूत में ले कर वो पैर फ़ैला के कमर उठा कर मस्ती से चुदवाने लगी। विक्की का मुँह मम्मे पे दबा कर वो बोली, “ले मेरे मम्मे चूस कर मेरे दर्द को ज़रा तसल्ली दे। विक्की बहनचोद... मैं तो ऐसे चुदवाने को शादी की पहली रात से तड़प रही थी कि खुली हवा में चुदवाऊँ लेकिन मेरा शौहर, साले का लंड खुले में आते ही मानो ठंडा पड़ जाता है। अरे अब शुरूआत ऐसी हो चुकी है तो अंत भी बड़ा ज़ालिम होना चाहिये। मुझे ऐसा लगना चाहिये कि ज़िंदगी में पहली बार चुदी हूँ। सुन विक्की गाँडू... तेरा रस मेरी चूत के एकदम अंदर डालना... मेरी बच्चेदानी पे... तभी मुझे सही में तसल्ली मिलेगी।”

सबरीना के मम्मे पहले बच्चे की तरह चूस कर फिर जोश में आकर दोनों निप्पल बारी-बारी चूस कर, चबाते हुए पूरे लाल कर दिये विक्की ने। नीचे चूत में लंड घुसा-घुसा कर सबरीना को चोदते हुए विक्की ने उसके मम्मे इतने चूसे कि उसके चबाने से सबरीना के मम्मों से हल्का सा खून आ गया जिसे विक्की ने चाट लिया। फिर मम्मे मसलते हुए विक्की बोला, “सबरीना तेरे जैसी गरम माल के साथ ज़िंदगी भर खेलुँगा, तुझे अपनी राँड बना कर रखुँगा, तेरी जैसे गरम चूत आज तक नहीं मिली। सबरीना शादी के इक्कीस साल रेगिस्तान में भटकने के बाद आज तुझे समंदर मिल रहा है, एक असली दमदार लंड से... तेरा शौहर जल्दी झड़ता है... इस लिये मुझे शक है कि वो तेरी बेटियों का बाप नहीं है क्यों? बहनचोद चूदाई के अंत में तू लंड निकाल लेने के भीख माँगेगी... समझी छिनाल? बहनचोद तुझे चोदके फिर माँ बनाऊँगा और अपने बच्चे की सौतेली बहनों को और उसकी माँ को चोदता रहुँगा।”

सबरीना विक्की का चेहरा चूमते हुए हाथ नीचे डाल कर उसकी गोटियाँ मसल कर बोली, “अरे-अरे ये गाली मत दे उसे... उसके साथ शादी के बाद आज पहली बार किसी पराये मर्द का लंड इस चूत को नसीब हुआ है पर शादी से पहले बहुत लंड लिये हैं मैंने अपनी चूत में। आज इस चूत को फाड़ कर अपनी रस की एक भी बूँद मेरी चूत के बाहर ना जाये... ये देखना। अच्छा लेकिन ये तो बता तुझे मुझ जैसी लजीज़ माल तो कई मिली होंगी ना?”

लंड करीब-करीब बाहर निकाल कर फिर बेरहमी से अंदर ठाँसते हुए और मम्मे नोचते मसलते हुए विक्की बोला, “बहनचोद तेरा चूतिया मर्द मिले तो उसकी गाँड मारूँगा, हरामी ने तेरी जैसी गरम चूत इतने दिन मुझसे जो छिपायी। तेरी माँ की चूत... साली तू तो बचपन से मेरी राँड होनी चाहिये थी। तेरी माँ को चोदूँ राँड... अपने कीमती लंड के पानी की एक भी बूँद बाहर नहीं जाने दूँगा। तेरी गरम चूत की कसम... कईं चूतें चोदीं, पर तेरी जैसी माल आज तक नहीं मिली। तेरी जैसी गरम और हर बात में साथ देने वाली चूत नसीब वाले मर्द को ही मिलती है रंडी।”

“तू मेरी चूत चोदता रह... भड़वे। तेरी गाली, मार और लंड मुझे और मस्त बना रहे हैं विक्की। और ज़ोर से चोद मुझे, निकाल ले पूरी भड़ास गाँडू मेरी ये चूत चोद कर।” विक्की के लंड पे शायद भूत सवार था। वो तो बेरहमी से सबरीना को चोद कर उसके मम्मे मसलते हुए दबा रहा था। चूत चोदते हुए उसकी गाँड में उँगली घुसाते हुए उसमें घुमा कर निकाल के सबरीना को चाटने के लिये देते हुए वो बोला, “ये बोल आज के पहले भी मर्दों ने तुझे भीड़ में मसला होगा तो उनसे क्यों नहीं चुदी तू राँड?”

सबरीना विक्की की उँगली शौकिया तौर पे एक रंडी जैसे चाट कर और फिर अपनी एक उँगली उसके लंड के साथ अपनी चूत में डाल कर निकाल के विक्की को चाटने के लिये देते हुए बोली, “अरे कईं लोगों ने मुझे क्या कईं औरतों को मसला है... इसलिये तो हम औरतों को भीड़ में जाना पसंद नहीं। रही बात औरों से मसलवाने कि तो कईं बार मसली गयी हूँ पर किसी में तेरे जितना दम ही नहीं था इसलिये सिर्फ़ मसलने पे ही बात खतम हुई। तू जिस हिसाब से मेरी बात माने बिना भीड़ में ब्लाऊज़ खोलने लगा... तब मैंने फ़ैसला किया कि तुझे अपने साथ आने को कहूँगी।”

सबरीना की उँगली पूरी चाट कर हल्के से चबाते हुए विक्की बोला, “क्या बोलती है? तेरी जैसी गरम रंडी औरत को भीड़ में जाना पसंद नहीं? अरे तेरी जैसी औरत को ही तो मैं भीड़ में ढूँढ कर गरम कर कर चोदता हूँ, तू मेरी ज़िंदगी में बस में मिली वैसे तीसरी चूत है। तूने भीड़ में सामने वाले को आज के पहले कितनी लिफ़्ट दी और वो कहाँ तक आया तेरे साथ?” विक्की अब चूत चोदते हुए सबरीना की गाँड में एक के बाद दूसरी उँगली डालते हुए अब चूत और गाँड एक साथ चोदने लगा। सबरीना पूरी मस्ती में आ कर अपनी कमर उछाल-उछाल कर चुदवाती हुई बोली, “और तेज़ भौंसड़ी के... और तेज़ डाल ना, मज़ा आ रहा है एक साथ चूत और गाँड चुदवाने में। उफ़्फ़्फ़ बड़ा ज़ालिम मर्द है तू... विक्की, और चोद मुझे गाँडू।” सबरीना की गाँड में तीसरी उँगली डाल के घुमाते हुए उसकी चूत को विक्की चोद रहा था। सबरीना की चूत में लंड घुसने की ’थप थप’ की आवाज़ आने लगी और सबरीना की सिसकरियाँ सुनायी देने लगी। विक्की फिर निप्पल खींचते हुए बोला, “ये ले रानी और ले और ले, तेरी माँ की चूत... आज तेरी गाँड और चूत फाड़ दूँगा। बोल तूने कहाँ तक लिफ़्ट दी है मर्दों को जब उन्होंने तेरा जिस्म भीड़ में मसला... सबरीना रानी?”

कमर उछाल-उछाल कर चुदवाने से सबरीना के मम्मे उछल रहे थे और फचक-फचक की आवाज़ आने लगी जब विक्की का लंड उसकी चूत में घुस कर बाहर निकलता क्योंकि दोनो बहुत गीले हुए थे। निप्पल खींचने से सबरीना दर्द और मस्ती से बोली, “आहह आहहह और तेज़ गाँडू, मेरे जिस्म को बेरहमी से मसलते हुए चोद मेरी चूत। विक्की मैंने तेरे से ज्यादा किसी को लिफ़्ट नहीं दी। लिफ़्ट तो बस भीड़ तक ही दी, जो दूसरे मर्दों ने किया, वो भीड़ में वहीं करने दिया पर तेरे सामने नंगी हो कर जैसे चुदवा रही हूँ वैसा मौका किसी भी मर्द को नहीं दिया। एक दो मर्दों ने भीड़ में ही अपना लंड पैंट की ज़िप खोल कर बाहर निकाल कर मेरी सलवार के ऊपर से गाँड पे रगाड़ा भी और मेरी पीठ और सलवार पर अपना वीर्य भी छोड़ा पर मैंने चुदवाया किसी से नहीं”

सबरीना का जोश और बढ़ावा देख कर खुश हो कर विक्की ने सोचा कि साली को सच में आज तक ऐसा लौड़ा नहीं मिला जो ये इतनी उछल कर चुदवा रही है। अब इसको और मज़ा दूँगा। वो सबरीना की कमर पकड़ कर बोला, “सुन रंडी चूत... अब मैं नीचे आऊँगा और तू मेरे ऊपर आ कर मेरे लौड़े से तू चूत चुदवा ले अपनी... समझी रंडी?” सबरीना को बाहों में पकड़ कर घूम कर उसे विक्की अपने ऊपर ले कर बोला, “चल रंडी अब देखता हूँ... कितना दम है तुझ में।” सबरीना के लाल मम्मों को अब और बेरहमी से मसलते हुए और निप्पल खींच कर उसे दर्द और मज़ा देते हुए नीचे से गाँड उठा कर उसके धक्कों का जवाब विक्की देने लगा। इस पोज़िशन में आठ-दस धक्के खाने के बाद सबरीना चूत से लंड निकाल कर घूम के अपनी पीठ विक्की की तरफ कर के लंड अपनी चूत में डाल कर चुदवाने लगी। ऐसा करने से विक्की को अपना लंड सबरीना की चूत से अंदर बाहर होते दिखने लगा। साथ-साथ सबरीना अपने मम्मे खुद दबा कर कईं बार अपनी चूत को सहलाते हुए सिसकरियाँ भरती हुई चुदवाने लगी।
सबरीना के इस स्टाइल और बे-शर्मी से खुश हो कर विक्की उसकी चूत सहलाते हुए अब आराम से उसकी गाँड में भी उँगली करने लगा। बीच में उसके मम्मे भी खींच कर नोचते हुए वो बोला, “बहनचोद तू तो बड़ी मस्त रंडी है, क्या स्टाइल से चुद रही है राँड, ऐसा कभी देखा नहीं छिनाल, और ज़ोर से चुदवा ले रंडी, देखने दे तेरी चूत में कितनी गर्मी है छिनाल। आहहहहह साली और ज़ोर से उछल, लंड तेरी बच्चेदानी पे टकरा रहा है या नहीं रखैल?”

नीचे के धक्कों से सबरीना भी अब अपना पूरा ज़ोर लगा कर उछलने लगी। काफी चूदाई के बाद उसकी चूत में अब सूजन महसूस होने लगी जिसका विक्की को भी एहसास हुआ। ज़ोर से उछलने और हिलने से सबरीना के मम्मे हवा में झूल रहे थे और विक्की उनको बेरहमी से मसल रहा था। अपनी चूत सहलाते हुए सबरीना बोली, “हाँ विक्की... साले! तेरा लंड मेरी बच्चेदानी पे ठोकर दे रहा है। लगता है तेरे लौड़े को मेरी गरम चूत में झड़ कर इस चूदाई की निशानी छोड़नी है। तेरे लौड़े से चुदवाने से मेरी चूत सूज गयी है लेकिन अभी तक दिल नहीं भरा... मेरे चोदू राजा।”

सबरीना के उछलते मम्मे मुठ्ठी में दबाते हुए विक्की बोला, “साली रंडी अब और चोदुँगा तुझे, ये तो नॉर्मल स्टाइल हुई... अभी तुझे कुत्तिया बनाके चोदना है। तेरी जैसी गरम मुसलमान औरत को कुत्तिया बनाके चोदने में बड़ा मज़ा आता है मुझे... सबरीना छिनाल! इससे लंड को ठंडक पहुँचती है मेरे। देख मम्मे कैसे उछल रहे हैं हवा में, मादरचोद मज़ा आ रहा है तुझे चोदने में।”

अब सबरीना की हालत बड़ी खराब होने लगी। इतना दर्द उसे पहले कभी नहीं हुआ था। वो कमर थोड़ी ऊपर करके अब विक्की का पूरा लंड चूत में ना लेते हुए बोली, “हाँ... हाँ... तुझे मज़ा आ रहा है भड़वे! पर मेरी हवा बिगड़ने लगी है तेरे लौड़े से।”

सबरीना की कमर कस कर पकड़ कर चूत में लंड ठेलते हुए विक्की बोला, “तो क्या करूँ? तुझे नीचे ले कर आखिरी धक्के मार के तेरी चूत में अपनी निशानी छोड़ जाऊँ क्या सबरीना रंडी?” सबरीना को अब बोलने की ताकत नहीं रही थी इसलिये वो चिल्लाते हुए बोली, “आह आहहह आहहह ओहहह अल्लाह आहहह ओहहह मेरे मौला ओहहह अल्लाह चूत फट गयी ओहहहहह हाय गाँआँआँडू आहहहहह आहहह होओओओओ अल्लाह।”

जानवर बनके विक्की बिना रहम के उसको चोदते हुए बोला, “फटने दे रंडी, तुझे याद रहेगा कि असली मर्द के लंड से तेरी चूत फटी, ये ले... और ले... और ले साली।” बेरहमी से उसे चोदते हुए और फिर उसे अपने नीचे ले कर विक्की चोदते हुए बोला, “बोल मेरी रंडी बनेगी ना? तेरी बेटियाँ देगी ना मुझे सबरीना?” अब विक्की का लंड पूरा का पूरा सबरीना की बच्चेदानी पर धक्के देने लगा था। अपना सीना विक्की के मुँह पे दबाते हुए सबरीना बोली, “अरे बन गयी हूँ ना अब मैं तेरी रंडी विक्की और हाँ... दूँगी तुझे अपनी बेटियाँ भी। पर क्या मेरी बेटियाँ तुझसे चुदवा सकेंगी, ये तगड़ा लौड़ा उनकी चूत फाड़ नहीं देगा राजा?”

मुँह पे आये सबरीना के मम्मे चूसते हुए और कमर कस के पकड़ कर चोदते हुए विक्की बोला, “नहीं ले सकी मेरा लंड तो चूत फटेगी और क्या होगा? पर असली मर्द से चूत फटने का मज़ा तो मिलेगा ना उनको? नहीं तो ना जाने कौनसे चूतियों से अपनी चूत चुदवाके अपनी जवानी बर्बाद करेंगी वो दोनों।”
सबरीना विक्की के बाल संवारते हुए झड़ने के करीब होने से अपना जिस्म विक्की के बदन से रगड़ते हुए बोली, “ठीक है भोंसड़ी वाले! तुझे मैं अपनी बेटी को चोदने दूँगी में। तूने जो मुझे चोदके मुझ पर मेहरबानी की है उसके लिये तुझे अपनी बेटी जरूर दूँगी।”

विक्की भी झड़ने पे आया था। वो कस कर सबरीना को पकड़ कर उसके निप्पल बेरहमी से चूसते चबाते और चूत चोदते हुए बोला, “मैं भी झड़ने वाला हूँ तेरी गरम चूत में, बहुत मज़ा आया जान, ले और ले रंडी। आहहहहहह ये ले रंडी साली मज़ा आया तुझे चोदने में सबरीना।”

सबरीना जैसे ही झड़ने लगी तो चिल्लाती हुई बोली, “आहहहहह आआआहहहह आँआँआँआँहहहहह मैं तो ओओओओओओ गयीईईईई ऊऊईईईई अल्लाह आहहहह, मुझे कस कर पकड़ विक्की।” सबरीना की उछल कूद से जैसे ही विक्की झड़ने लगा तो सबरीना को कस कर पकड़ कर अपना लंड पूरा अंदर तक घुसाते हुए बोला, “ये ले छीनाआआआआल चूत आहहहहहहह क्क्याआआआआ चूत है तेरीईईईई।” विक्की कस के सबरीना को पकड़ कर लंड का पानी उसकी चूत में छोड़ने लगा। सबरीना को वो गरम पानी अपनी बच्चेदानी पे गिरने का एहसास होने लगा। वो गरम-गरम लावा उसकी चूत में जाके उसकी चूत को ठंडक देने लगा। लंड का पानी चूत को भरने लगा और चूत भरने के बाद काफी वीर्य बाहर आकर सबरीना की जाँघों को गीला करता हुआ नीचे गिरने लगा। विक्की निप्पल चूस कर बोला, “ले जान आआआआआहहहहहह सालीईईईई पूराआआआआ पानी ले रही है तेरी चूत सबरीना छिनाल।”

सबरीना ने विक्की का चेहरा पकड़ कर एक ज़ोरदार चुम्मा उसके होंठों पे सटाया। सबरीना अब भी हाँफ रही थी और संतोष के मारे उसकी आँखें अभी भी बंद थी। पूरा झड़ने के बाद दोनों हाँफ रहे थे। जैसे ही विक्की का लंड चूत से निकला तो ’पॉप’ की आवाज़ हुई और लंड निकालने के बाद चूत में वीर्य बाहर बहने लगा। सबरीना की ब्रा से चूत साफ़ करके विक्की उठ कर घुटनों पे खड़ा हो कर लंड सबरीना के होंठों के पास लाते हुए बोला, “मेरे इस मुस्टंडे लंड को कैसे साफ़ करेगी सबरीना राँड?” लंड सबरीना के होंठों पे घुमाते हुए विक्की आगे बोला, “ले रंडी चाट के साफ़ कर मेरा लंड... छिनाल सबरीना।” सबरीना थकान की वजह से यंत्रवत अपनी जीभ बाहर निकाल कर विक्की का लंड चाटने लगी। विक्की हौले-हौले अपना लंड सबरीना के मुँह में डाल के साफ़ करते हुए बोला, “अच्छे से चूस कर साफ़ कर रंडी, ये तेरे हिजड़े शौहर का लौड़ा नहीं है, तेरे यार का लौड़ा है। ठीक से साफ़ कर इसे।”
सबरीना के पूरा लंड चाट कर साफ़ करने के बाद वो दोनों उसी खुली हवा में थकान से निढाल हो कर लेट गये।

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उस रात विक्की से चुदवाने के बाद सबरीना सहेली के घर जाने की बजाय वापस अपने घर गयी। उन फटे और गंदे कपड़ों में सहेली के घर जाती तो सहेली को पक्का शक हो जाता। फटे ब्लाउज़ में बिना ब्रा के सीने को गंदी साड़ी में लपेट कर, साड़ी बिना पेटीकोट के पैंटी पर बाँध कर वो घर आयी। विक्की सबरीना को घर तक छोड़ने गया था। सबरीना की बेटी सो रही थीं इसलिये उसे कुछ तकलीफ नहीं हुई घर में।

६-७ दिन के बाद वो विक्की से मिलने उसके घर गयी। चुदाई के बाद जब वो विक्की की बांहों में पड़ी थी तो विक्की ने उसकी बेटियों के बारे में पूछा। मुस्कुराते हुए सबरीना बोली, “तू मेरी बेटियों के बारे में जानने के लिये बेताब है... यह मैं जानती हूँ विक्की... तो सुन, मेरी एक बेटी हॉस्टल में पढ़ती है और दूसरी घर में रहती है। ज़हरा इंजीनियरिंग में है और समीना बी.कॉम कर रही है। मैंने तुझसे वादा किया था तो अब निभाने का वक्त आया है। बोल कैसे करना चाहता है तू चुदाई का खेल मेरी समीना के साथ?”

विक्की ने प्लैन पहले ही सोच कर रखा था। सबरीना के मम्मों से खेलते हुए वो बोला, “चल कोई बात नहीं, सिर्फ़ समीना भी मिली तो कोई गम नहीं, मौका मिला तो ज़हरा को भी चोदुँगा। सुन सबरीना तू एक काम कर, अपने घर में मुझे तू अपने मायके का फैमली फ्रेंड बना कर रख। २-३ दिन में घर के लोगों का टाइमिंग ऑबज़र्व कर के प्लैन बनाऊँगा।”

सबरीना ने विक्की की यह बात मानी और कुछ ही दिनों में विक्की को अपने घर में मुँह बोला भाई बना के ले आयी। सबरीना के शौहर और बेटी ने सबरीना की बात मान कर विक्की का स्वागत किया। समीना को देखके ही विक्की का लंड उठने लगा। वो बीस साल की जवान लड़की एक दम उसकी माँ पर गयी थी। वहीं रंग, वहीं चेहरा, वहीं आँखें, वैसा ही गठीला जिस्म, बत्तीस के कड़क मम्मे, पतली कमर और गोल गाँड। सलवार कमीज़ और ऊँची हील की सैंडल में समीना का वो रूप देख कर विक्की उसे देखता ही रह गया। विक्की ने नोटिस किया कि समीना उसको अजीब नज़र से देख रही थी। उस नज़र से विक्की समझ गया कि समीना को अपनी जवानी का एहसास है और वो भी मर्द का साथ चाहती है।

इन दिनों में विक्की ने देखा कि समीना उसे कई बार ध्यान से देखती थी। वो जब वक्त मिले तब विक्की से बात करने बैठ जाती। विक्की भी यही चाहता था और वो भी दिल खोल कर समीना से बातें करता था। बात करते वक्त वो समीना का पूरा जिस्म निहारता और समीना भी बिना कोई डर या शरम के उसके सामने बैठ कर बात करती थी। प्लैन के मुताबिक विक्की ने घर के लोगों का टाइमिंग ऑबज़र्व किया। सबरीना का शौहर सुबह जा कर रात में ही आता था और समीना का दोपहर का कॉलेज होता था इसलिये वो सुबह घर में ही रहती थी। यह सब देख कर विक्की ने प्लैन बनाया और सबरीना को बताया। विक्की का प्लैन सुन कर सबरीना खुश हुई और प्लैन के मुताबिक चलने का वादा किया। उन ५-६ दिनों में विक्की रोज़ दोपहर को सबरीना को चोदता था। समीना के कॉलेज जाने के बाद शाम तक यह मस्ती चलती रहती थी। विक्की ने सबरीना को शराब पीने की भी आदत डाल दी। शराब पी कर सबरीना नशे में और भी मादकता से चुदवाती थी।

दूसरे ही दिन सुबह शौहर के काम पर जाने के बाद जब समीना नहाने गयी तो सबरीना और विक्की एक दूसरे की बांहों में आ गये। लूँगी के ऊपर से विक्की का लंड पकड़ कर सबरीना ने कहा, “विक्की, आज तुझे मैं अपनी समीना दे रही हूँ। मुझे पता है कि मेरी बेटी गरम है। मुझे कई बार उसके बिस्तर के नीचे खीरा-काकड़ी मिली है। बाथरूम में अभी चूत में उँगली कर रही होगी। तू उसे अब खूब चोद और उसे भी जवानी का मज़ा दे।”

सबरीना को नीचे बिठा कर अपना लंड उसके होंठों पे रख कर विक्की बोला, “तू अब उसकी चिंता मत कर मेरी रंडी, उसे तो खूब मस्ती से चोदुँगा मैं। मुझे पता है तेरी बेटी है तो वो गरम चूत तो होगी है।”
बाथरूम के दरवाजे के बाहर नीचे बैठ कर सबरीना विक्की का लंड चूसने लगी और विक्की की-होल से बाथरूम में समीना को देखने लगा। समीना को नहाते देखने के ख्याल से और सबरीना द्वारा लंड चूसने से वो यह सोच कर गरम हुआ कि, है तो साली बीस साल की पर जिस्म एक भरी हुई औरत जैसा है। विक्की ने यह भी सोचा कि यह भी उसकी माँ जैसी ही गरम और नमकीन होगी बिस्तर में। की-होल से विक्की ने देखा कि कपड़े निकाल कर समीना अपना नंगा जिस्म आइने में देखती हुई सहला रही है। घूम कर अपनी गाँड, सीना और चूत को देख कर समीना उनको सहलाने लगी। विक्की का लंड नंगी समीना को देख कर और गरम हो गया जिसे सबरीना मस्ती से चूस रही थी। कितनी हरामी औरत थी यह सबरीना जो अपने यार को अपनी नंगी बेटी का जिस्म दिखा कर उसका लंड चूस रही थी। अब विक्की ने देखा कि समीना अपने मम्मे मसलते हुए साबून से अपनी चूत को भी सहलाने लगी। ऐसा करते वक्त वो अपनी आँखें बंद कर रही थी और अपने होंठों को अपने दाँतों से दबाती थी। समीना बार-बार अपनी चूत में उँगली भी कर रही थी। उसकी गुलाबी, बिना झाँटों वाली चूत गीली थी। उँगली से वो दाना दबा कर सिसकरियाँ भरती और दूसरे हाथ से मम्मे मसलती हुई आँखें बंद करके मस्ती कर रही थी।

यह सब देख कर विक्की ने सबरीना के मम्मे मसलते हुए उसका मुँह चोदना शुरू किया। उसने सोचा कि यह साली अपनी माँ पर गयी है, गरम माल है, काटे पर आयी है, थोड़ा और गरम करो, इसकी शरम हटाओ तो चुदवाने को तैयार होगी। वैसे भी प्लैन के मुताबिक घर में सिर्फ़ हम दो हैं और उसकी रूम लॉक है जिससे उसे सिर्फ़ टॉवल में ही बाहर आना है। १०-१५ मिनट उस कमसिन जवानी का नंगा नज़ारा देख कर विक्की का लौड़ा एक दम गरम हो गया। अब उसने सबरीना को उठाया और जाने के लिये बोला। सबरीना समीना का रूम लॉक करके कहीं बाहर चली गयी। समीना का रूम बाथरूम के पास ही था, इसलिये वो नहाने जाते वक्त अपने बाकी सब कपड़े बिस्तर पर निकाल कर रख कर सिर्फ़ टॉवल में नहाने गयी थी। जैसे ही समीना का नहाना हुआ और उसने टॉवल लपेट लिया तो विक्की आ कर सोफ़े पर बैठ गया।

समीना जब बाथरूम से टॉवल लपेट कर बाहर आयी तो विक्की को देख कर शर्मा गयी पर फिर हल्की मुस्कुराहट दे कर अपने कमरे के पास गयी। कमरे का दरवाजा लॉक देख कर वो हॉल क्रॉस करके अपनी माँ के बेडरूम की तरफ़ गयी। जब वो विक्की के सामने से गुजरी तब विक्की उसका गीला जिस्म बड़े ध्यान से देखते हुए आँखों में भरने लगा। माँ को बेडरूम में ना पा कर समीना वहीं से चिल्लायी, “अम्मी... ओ... अम्मी मेरे कपड़े तो देना। कहाँ हो तुम अम्मी?”

आँखों के कोने से विक्की समीना को देखने लगा। गीले गोरे जिस्म पर लाल टॉवल लिपटा था, बाल और जिस्म भीगे हुए थे, गोरी टाँगें घुटनों के थोड़े ऊपर तक नंगी नज़र आयी उसे। पूरा हुस्न देख कर विक्की बोला, “क्या हुआ समीना? क्यों इतनी ज़ोर से चिल्ला कर अपनी अम्मी को बुला रही हो तुम?” विक्की को अपना भीगा जिस्म देखते देख कर समीना ज़रा शरमा कर कमरे में जा कर बोली, “अम्मी कहाँ है? उसको कहो ना मेरे रूम में आये।”

विक्की बोला, “अरे सबरीना तो कुछ काम से बाहर गयी है, वो बोली थी की एक घंटे में आऊँगी, तुम को क्या काम है बोलो?” यह सुन कर समीना धीरे से बोली, “ओफ्फ ओह उसको भी इसी वक्त जाना था? अब मेरे कपड़े? क्या करूँ मैं? क्या पूरा घंटा सिर्फ़ यह टॉवल लपेटे रहूँ?” विक्की अब उसके रूम में आ कर समीना को पूरी तरह देखते हुए बोला, “क्या हुआ तेरे कपड़ों को? क्यों परेशान है तू?”

Anjaan
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