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Click hereइतना बड़ा लंड था कि जीवा की जांघो के बीच में बना संकरा-सा चूत का छेद पूरी तरह एयरटाइट हो गया था, उसकी चूत पुरी तरह से भरी-भरी महसूस हो रही थी जबकि लंड का कुछ भाग अभी भी बाहर था। मैं तेजी से जीवा की चूत में लंड ठेल रहा था।
मैं जीवा की चुचियों को बेरहमी से मसलने लगा और वह मादक आवाजें निकालने लगीं-उम्म्ह... अहह!... हय!... याह!
जितना हो सके उसे पीछे धकेलते हुए मैंने उसकी मखमली सुरंग को सहलाया। हम दोनों घुरघुराहट में सांस ले रहे थे और किसिंग कर रहे थे, थप् ठप की आवाजें बेडरूम में भर गईं।
मैं हर बार थोड़ी-सी कमर उठाता और पूरा का पूरा लंड जीवा की चूत में ठेल देता, हर धक्के के साथ जीवा के मुहँ से एक वासना भरी मादक कराह निकलती। जब जीवा का दर्द थोडा कम हुआ तो उसने आंखे खोली और समाने मैं का चेहरा देखकर हल्का-सा शर्मा गयी। जीवा मेरी बांहों में, पूरी तरह से नंगी होकर उससे अपने बदन की आग बुझवा रही थी। उसके सपनो का साजन उसका रक्षक उसे चोद रहा है और वह जांघे उठा कर अपनी नाजुक-सी फूल-सी कोमल चूत में मेरा लंड ले रही थी। वह जोर से हांफ रही थी और हांफते हुए बोली, "मुझे बहुत भरा हुआ लग रहा है, जैसे मेरे अंदर एक खंभा हो लेकिन यह बहुत अच्छा लग रहा है!"
इतना मोटा लंड की लगता था जैसे चूत का कोना-कोना लंड से भर गया हो अब कही भी 1 मिमी की भी गुंजाईश नहीं है। इस तरह से कोई लंड से उसकी चूत ऊपर तक टाइट पैक हो जाएगी, उसके अन्दर की सारी जगह घेर कर उसकी चूत को चूत के मुहँ तक इस कदर कसकर भर देगा उसने कभी सोचा नहीं था। जब मैं लंड पीछे कर बाहर निकाल ता तो योनि के अंदरूनी ओंठ भी लंड से चिपक कर लंड के साथ बाहर को आ जाते थे और जब लंड अंदर धकेलता तो योनि के बाहरी ओंठ लंड के साथ अंदर को चले जाते थे। सच में बहुत मजा आ रहा था ।
मैं ने कमर हिलाने की स्पीड तेज कर दी, हर धक्के के साथ मेरा मोटा लंड जीवा की चूत का हर कोना भरता हुआ उसकी अंतर की गहराई के आखिर छोर तक पहुँच जाता और फिर एक झटके में बाहर आकर फिर अन्दर चला जाता। जीवा की चूत की दीवारे फिर से चूत रस छोड़ने लगी थी। लगातार चोदते रहने से मैं बुरी तरह हांफने लगा था। मैंने जीवा से दोनों हाथ अपने चुतड़ो पर रखकर उन्हें फ़ैलाने को कहा। जीवा से अपनी जांघो के सर से मिला दिया और दोनों हाथो से चुतड फैला दिए। मैं ने धीरे से उसकी चूत में लंडघुसेडा और हलके धक्के-धक्के लगाने लगा। जीवा अपनी नाजुक-सी छोटी गुलाबी चूत में इतना मोटा लंड देखकर हैरान थी। मैं ने आइस्ते-आइस्ते लयबद्ध तरीके से जीवा की चूत में लंड पेलने लगा।
चोदने के दौरान, मैं जिवपर चढ़ कर बेकरारी से उनको चूमने लगा। चूमते वक्त हमारे मुँह खुले हुए थे, जिसके कारण हम दोनों की जीभ आपस में टकरा रही थीं। और हमारे मुँह में एक दूसरे का स्वाद घुल रहा था। मैं कम से कम 15 मिनट तक उनके होंठों का किस लेता रहा। साथ मेरे हाथ उनके मम्मों को दबाने में लगे हुए थे, वह भी मेरा साथ देने लगी थीं। इस बीच मेरा लंड उसकी तंग, गर्म, चूत से अंदर और बाहर फिसल रहा था
कहानी जारी रहेगी